नई दिल्लीः दिल्ली क्राइंम ब्रांच पुलिस की AHTU मौजूदा समय बदमाशों के लिए काल बन गई है। AHTU DCP मोनिका भारद्वाज और ACP सुरेंद्र कुमार गुलिया के नेतृत्व में लगातार खोए हुए और लापता लोगों को उनके परिवार से मिलाने का काम कर रही है।

AHTU ने दिल्ली के कंझावाला इलाके से साढ़े तीन साल पहले गायब हुई लड़की बिहार के सहरसा से बरमाद किया है। बता दें कि जिस लड़की को ACP सुरेंद्र कुमार गुलिया की टीम ने बरामद किया है उसका पता बताने वाले के लिए पुलिस ने 20 हजार रुपए का इनाम भी रखा था।

क्राइंम ब्रांच की DCP मोनिका भारद्वाज ने मीडिया को जानकारी देते हुए बताया कि, बिहार के सहरसा से बरामद हुई लड़की हरियाणा के फरीदाबाद की रहने वाली थी और कंझावाला इलाके में वह अपने मामा के घर रह कर पढ़ाई करती थी। 9 मार्च 2018 को लड़की लापता हो गई थी और इसकी रिपोर्ट भी कंझावाला थाने में दर्ज कराई गई थी।

DCP मोनिका भारद्वाज ने बताया कि 3 साल बीत जाने के बाद जब लड़की का कोई पता नहीं चला तो केस AHTU को ट्रांसफर किया गया। जिसके AHTU के धाकड़ ACP सुरेंद्र कुमार गुलिया ने मामले की नए सिरे से जांच शुरू की। जांच में ACP सुरेंद्र कुमार गुलिया की टीम को एक फर्जी पते का नंबर मिला जो फरवरी 2021 में लिया गया था। इसके बाद 4 सितंबर को एक और नंबर मिला जिसकी लोकेशन बिहार के सहरसा में मिली। इसके बाद ACP सुरेंद्र कुमार गुलिया की टीम बिहार पहुंची और गृहस्थ जीवन जी रही लड़की को खोज निकाला।

ACP सुरेंद्र कुमार गुलिया ने बताया कि लड़की अपने मामा के पास रहकर पढ़ाई करती थी लेकिन, उसका पढ़ाई में मन कम लगता था। वो स्कूल जाने के दौरान संदिग्ध पन्ना लाल ऊर्फ संजीत के संपर्क में आई। संजीत कंझावाला इलाके में राजमिस्त्री का काम करता था। संजीत ने लड़की को बहला फुसलाकर अपने अधीन कर लिया और उसे सहरसा में अपने पैतृक गांव राही टोला ले आया।

आरोपित संजीत ने यहां लड़की से शादी कर ली और इनका 2 साल का एक बेटा है। जांच में पता चला कि दिल्ली में राजमिस्त्री का करने वाला संजीत के प्रयास के मामले में संलिप्त है। वहीं जब AHTU की टीम ने सहरसा में संजीत के घर पर छापेमरी की तो वो वहां मौजूद नहीं था और छापेमारी की भनक लगते ही वो वहां से फरार हो गया, फिलहाल पुलिस ने आरोपित संजीत की तलाश में जुटी है। वहीं सकुशल बरामद की गई लड़की को पुलिस ने उसके परिजनों से मिलवा दिया है।

ACP सुरेंद्र कुमार गुलिया ने इस कार्य में शामलि इंस्पेक्टर वीरेंद्र कुमार, ASI विनोद कुमार और महिला कांस्टेबल सुकन्या को इस सफलता का श्रेय दिया है। ACP सुरेंद्र कुमार गुलिया ने कहा कि, “ये सफलता हमारी टीम के अथक प्रयासों की बदौलत हासिल हुई है”